तरुण जयसवाल
लखनऊ, गोमतीनगर स्थिति संत गाडगे जी महाराज प्रेक्षागृह में कल शाम 7:00 बजे हुए नाटक कंसा कथा एक कंस की का मंचन किया गया यह प्रस्तुति संध्या विजय बेला एक कदम खुशियों की ओर के युवा कलाकरो द्वारा तैयार की गई है जिसका निर्देशन चंद्रभान सिंह ने किया है इंजीनियर ओम प्रकाश शर्मा जी पिक्सेल फिल्म के माध्यम से नए युवा उभरते कलाकारों को एक बड़ा मंच देने का प्रयास कर रहे हैं युवा कलाकारों ने अपने कार्यक्रम के माध्यम से मंच पर जयप्रकाश जी जो कि 29 जून 1985 में भाग चुके थे कि देश में इमरजेंसी लगने वाली है गुजरात के विद्यार्थियों का नवनिर्माण आंदोलन दया प्रकाश सिंह जी जैसे रंगकर्मी को भी भीतर तक आंदोलित कर गया था उनकी लेखनी से निकली रंग रचना कथा एक कंस की को लखनऊ के रंग कर्मियों ने इसी दिन पहली बार अपनाया और महाभारत काल के पात्र कंस को रूपक बनाकर जनमानस के हृदय में अनेक कृष्ण अंकित कर दिए हर युग और काल में यह प्रश्न देव बने रहे हैं बस कभी यह ट्रस्ट चर्चा में आते हैं कभी इनकी चर्चा में भी हम भय करते हैं। नाटक के माध्यम से पिता पुत्र का रिश्ता बहन भाई का रिश्ता प्रेमी प्रेमिका का रिश्ता पति पत्नी का रिश्ता एक सम्राट और उसकी सभा का रिश्ता और इन सभी रिश्तो में विविध आयामों को मनोरंजन की नई परिभाषाओं के साथ पिक्सेल फिल्म्स के प्रोडक्शन और विजय मेला थिएटर टीम के उभरते हुए युवा कलाकारों के द्वारा मंच पर परोसा गया है।
कलाकार मंच पर कंस- चंद्रभाष सिंह,छोटा कंस- विशाल सिंह,देविका- माधुरी सिंह व अन्य किरदारों के साथ रहे कलाकार जिनमे नितेश कुमार,विकास दुबे,रुचि सिंह,चारू,हरिओम सिंह,तारा,उप्रेती,शिवराज सिंह,हिमेश कश्यप,मोहन सोनी व अन्य कलाकार शामिल रहे।