अम्बिकानन्द त्रिपाठी
अयोध्या । नगर निगम बनने के बाद सफाई व्यवस्था दुरुस्त होने का दावा करने वाले नगर निगम ने राजकीय तुलसी उद्यान के पीछे लगा हुआ कूड़े का ढेर और उसमें कूड़ा और पन्नी खाते हुए आधे दर्जन से अधिक गोवंश जो किसी भी राहगीर को घायल कर सकते हैं।
नगर निगम अयोध्या बनने के बाद 1 वर्ष बीत चुका है लेकिन यहां सफाई व्यवस्था जस की तस बनी हुई है। निगम भले ही रात्रिकालीन सफाई व्यवस्था कराने व त्वरित कूड़ा उठाने का दम भरता हो , लेकिन वास्तविकता यह है कि मुख्य मार्गों को छोड़ और कहीं भी किसी मोहल्ले की सड़क या गली में झाड़ू नहीं लगता । जहां पर कूड़े के डंपिंग स्टेशन हैं वहां कई- कई दिन तक कूड़ा नहीं उठता है, जिसका स्पष्ट नमूना नजरबाग रोड पर देख सकते हैं। महाराजा कॉलेज के चैनल वाले गेट के पास कूड़े का ढेर लगा रहता है। गाड़ीवान टोला, ऋण मोचन घाट, गोलाघाट, के मणिराम दास छावनी चौराहे सहित अन्य स्थानों पर भी कूड़े का ढेर लगा रहता है ।इसके साथ ही साथ नालियों की सफाई केवल मुख्य मार्ग पर ही की जाती है , -गली- मोहल्लों की नालियां आज भी पूर्ववत गंदगी व कचरे से भरी हुई हैं ।नगर निगम के अंतर्गत आने वाले राजकीय तुलसी उद्यान के पीछे जहां पर कई धर्मशाला और मठ – मंदिर हैं यह मार्ग आवागमन के लिए व्यस्ततम मार्ग है यहां पर नीचे दिए गए चित्रों में आप देख सकते हैं कितना कूड़ा और गंदगी पड़ी हुई है ।आधे दर्जन से अधिक गोवंश( सांड और गायें)इस कूड़े – करकट और पन्नी खा रही हैं। आने – जाने वाले राहगीरों को भी ये कभी-कभी घायल कर देते हैं ।नगर निगम का सफाई विभाग पूरी तरह से फेल साबित हो रहा है । नगर निगम के सारे दावे सफाई व्यवस्था के संबंध में खोखले साबित हो रहे। हैं क्योंकि यहां बने दो दर्जन से अधिक सुलभ शौचालय अभी भी दबंगों और सफाई कर्मियों के अवैध कब्जों से मुक्त नहीं कराए जा सकें हैं मूत्रालयों मेंबर मल मूत्र भरा हुआ है उनमें कोई यात्री या नागरिक जाकर मूत्र त्याग नहीं कर सकता । बार-बार बैठकों में जिलाधिकारी ,विधायक व मेयर की मौजूदगी में उठाया गया लेकिन वहां भी मात्र वायदे ही मिले । कार्तिक परिक्रमा एवं पूर्णिमा
मेला गीत गया। रामायण मेला व राम विवाह का महोत्सव भी बीत गया लेकिन अयोध्या की सफाई व्यवस्था जस की तस रहेगी। अगर नगर निगम के मेयर पद यात्रा करके वास्तव में मुहल्लों का निरीक्षणजागरूक नागरिकों व जनप्रतिनिधियों के साथ करें तो उन्हें वास्तविकता का पता चलेगा । नगर के विभिन्न मुहल्लों सड़कें गड्ढा युक्त, ऊबड़-खाबड़ हैं ।अनेक स्थानों पर हैंडपंप खराब पड़े हैं जिन्हें 6 महीना पहले रिबोर होना चाहिए वह आज तक रीबोर नहीं कराये जा सके हैं ।लोग पानी के लिए तरस रहे हैं ।यहां तक कई जगह सड़कों पर वाटर लीकेज है उन्हें भी नहीं ठीक कराया जा सका है ।नगर निगम के अधिकारी किसी की शिकायत पर या टेलिफोनिक सूचना पर कार्रवाई करने का आश्वासन तो देते हैं लेकिन उसे क्रियान्वित नहीं करते हैं। आवश्यकता है जिलाधिकारी को अयोध्या नगर की सफाई व्यवस्था , खराब हैंडपंपों की मरम्मत तथा टूटी-फूटी सड़कों व नालियों का निर्माण कार्य कराने में दिलचस्पी लें तथा दूसरे विभागों से इसकी मॉनीटरिंग कराएं तो ज्यादा अच्छा रहेगा।