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क्रिसेंट अस्पताल के खिलाफ सीएम से शिकायत,

एलडीए के अधिकारियों पर मिली-भगत का आरोप, वीसी ने कहा मामले की जांच कराएंगे
लखनऊ। आवासीय जमीन पर चले गोमती नगर विभव खंड के क्रिसेंट अस्पताल के खिलाफ सीएम से शिकायत दर्ज कराई गई है। सीएम के आईजीआरएस पोर्टल पर किए गए शिकायत में अस्पताल को गैर समाजिक गतिविधियो का अड्डा बताया गया है। यह भी आरोप लगा है कि माफिया डॉन डॉन मुख्तार अंसारी के गिरोह से जुड़े मो० इस्तिफाक, मोहम्मद इकलाख व जेल वार्डन इलियास के द्वारा तमाम असमाजिक काम यहां होते हैं। मामले में एलडीए के खिलाफ भी शिकायत दर्ज कराई गई है। बताया गया कि एलडीए वीसी की तरफ से शिकायत के बाद आख्या मांगी गई लेकिन मामले में कुछ अधिकारियों ने मिली- भगत की मामले को खत्म का दिया। बी 3/173 विभव खंड -4 मे संचालित क्रिसेंट हॉस्पिटल मानकों के विपरीत लविप्रा से बिना नक्शा पास कराकर खुलेआम असामाजिक गतिविधियों को अंजाम दे रहा है। इसकी जांच कराने की मांग की गई है। एलडीए के नियमों के अनुसार नर्सिंग होम का न्यूनतम क्षेत्रफल 500 वर्ग मीटर होना चाहिए। जिसमें उसकी अधिकतम लंबाई 15 मीटर होनी चाहिए, जिसमे उसका सेट बैक का फ्रंट 6 मीटर बैक 3 मीटर और दायें बाएं 3 व 3 मीटर होना चाहिए। जबकि अस्पताल महज 200 वर्गमीटर में बिना सेटबैक व नक्शा पास के खुलेआम संचालित किया जा रहा है। मामले में एलडीए वीसी इंद्रमणि त्रिपाठी ने जोनल अधिकारी से रिपोर्ट मांगने की बात कही है। उन्होंने कहा कि संबंधित जोनल अधिकारी को पूछा गया है। वहां से रिपोर्ट आने के बाद नियमानुसार सख्त कार्रवाई की जाएगी। क्रिसेंट हॉस्पिटल बेसमेंट में चलाया जा रहा है जिसमे नक्शा पास कराने के दौरान जिला प्रशासन के खनन विभाग से अनापत्ती प्रमाण पत्र लेना पड़ता है। साथ ही राजस्व के लाखों रुपए जमा कराने पड़ते है जिसको बचा कर लखनऊ जिला प्रशासन की राजस्व क्षति की गई जिसकी जांच अति आवश्यक है। क्रिसेंट हॉस्पिटल मे नेपाल के रास्ते तमाम नेपाली नागरिकों का इलाज किया जा रहा है जिसमे मो० इस्तीफाक नामक व्यक्ति जो की खुद को अस्पताल का संचालक बता कर रोब गांठता है और यह की मो० इस्तीफाक के पास जो डॉक्टर की डिग्री है जो की पूर्ण रूप से फर्जी है। इसकी जांच कराने की मांग की गई है। यह भी आरोप है कि यहां नकली दवाइयां, एक्स पायर्ड दवाइयों का बड़ा कारोबार कर बाजार मे बेचा जाता है वही अस्पताल मे तमाम असामाजिक तत्वों का आना जाना है जिसमे कई विदेशी, नेपाली नागरिक बॉर्डर पार कर यहां दाखिल होते हैं जो की लखनऊ मे असामाजिक क्रिया कलापो मे लिप्त रहते है जिसकी जांच पुलिस महकमे द्वारा किया जाना आवश्यक है। फायर के मानक के खिलाफ यहां अस्पताल का संचालन हो रहा है। अस्पताल में मौजूद मरीजों की जान का जोखिम हमेशा बना हुआ है।

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