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चायनीज पटाखों का हुआ बहिष्कार- इण्डियन पटाखों पर दिखी महंगाई की मार

पहली पंसद बना आकाशी जय हो, लैप्पीनेस अनान बना लिटिल स्टा
कानपुर नगर | जगमगाते दीपों का त्यौहार पास आता जा रहा है, हालांकि इस बार दीपावली की दस्तक करबी 2 हफ्ते पहले ही हो गयी पर बावजूद इसके लोगों में इस त्योहार को मनाने के अंदाज में कोई कमी नही दिखाई दे रही है। त्योहार को लेकर बच्चों का उत्साह देखते ही बनता है नये कपडे, मिठाईया तथा पटाखो के बगैर दिवाली अधूरी सी लगती है। दिनो दिन बढती महंगाई के बावजूद चाईना के पटाखों को टक्कर देते हुए भारतीय पटाखों की बेशुमार रेंज ब्रांडेड क्रेकर्स के साथ अब बाजारों में उपलब्ध है। विगत कइ्र सालेां से जहां चाइना ने सस्ते पटाखो के जरिये लोगों को लुभाया जरूर था पर इन पटाखों से होने वाले खतरे भी बहुत थे। मद्रास उच्चतम न्यायालय के फरमान के बाद चाइना के पटाखों पर पूर्णतः प्रतिबन्ध लगा दिया गया है और भारतीय पटाखों में कइ्र ब्रांडेड कमपनियों ने मानकों को ध्यान में रखते हुए जहां पटाखों में कई वरायटी व क्वालिटी को ध्यान में रखा है तो सरकार के बढते टैक्स की वजह से इनकी कीमतों में भी इजाफा होना लाजमी है।
क्या क्या है खास इस बार पटाखा बाजार में
विगत एक दशक से फूलबाग स्थित अपनी पूरानी शान शौकत के साथ बार भी सज गया है पटाखा बजार। हालांकि मा0 उच्चतम न्यायालय के फैसले के बाद देश के कई राज्यो में मद्रास व दिल्ली एनसीआर में पूर्णतः पटाखों की दुकाने लगाये जने व इनके भण्डारण पर पूर्णतः प्रतिबन्ध के बाद उ0प्र0 में भी इसका असर दिखाई दिया है। प्रशासन की सख्ती के चलते इस बार 15 दिन की जगह केवल 10 दिन ही अस्थाई तौर पर थोक पटाखा बाजार लगाते की प्रशासन ने इजाजत दी है।

यही कारण है कि इस बार पटाखा बाजार में रौनक कुछ देर से आई है। इस साल मेस्टनरोड आतिशबाजी थोक पटाखा बाजार द्वारा सभी लाइसेन्सधारी व्यापारियों के 16 स्टाल लगाये गये है, जिसमें सरुक्षा के मददेनजर इकोफ्रेंडली पटाखों को शामिल कर इस बाजार में आने वाले पटाखों में इन्डियन ब्रांडेड कलेक्शन की भरमार है। फैंसी आईटम में खासकर बच्चो के लिए खासा कलेक्शन पर नजर डाले तो अंजुम नैयर व शहजादे भाई के स्टाल नं0 8 पर जिसमें बच्चों की पसंद का ध्यान रखते हुए चाईना के पटाखों को टक्कर देते हुए भारतीय पटाखों की बेशुमार रेंज में ट्राई कलर अनार, जेड फाउन्टेन व किडफस चोईस स्प्लेंडर अनार, हिप्पनेस स्काई व हवा में उडकर आवाज करती रंग बिरंगी बटर फ्लाई पिछली साल की अपेक्षा इस बार भी खासी मांग है। बाजार के आखिर में ईगल व स्टेण्डर्ड कम्पनी में सबसे महंगे पटज्ञखों में इस बार बडो के लिए स्काई शाॅटस में सिल्वर मल्टीकलर फुलझडी की बेशुमार रेंज लायी गयी है। ईगल ब्रांडेड पटाखो के लिए शरीफ नवाब के स्टाल पर जय हो और ब्लेक चाभी की मांग है और सकाई शाॅट्स खासा पसंद किया जा रहा है जिसमें उन्होने बताया कि सस्ते पटाखों में स्प्लेंडर दो कलर वाला दो पीस का बाॅक्स 60 रू0 क्ले कोम्पेक्ट बाॅक्स में उपलब्ध है। साथ ही मालती कलर फूल अनाद 60 रू0 में 5 पीस के बाॅक्स में जेड फाउन्टेन नाम से उपलब्ध है। छतरी घर के नाम से मशूद भाई के स्टाल पर सुरक्षा के मानकों का ध्यान रखते हुए दुकान के सामने अग्नि नियंत्रक यंत्र के साथ बाल्टियों में पानी और बालू की बखूबी व्यवस्था की गयी है। उन्होने बताया कि तेज आवाज करन ेवाले पटाखों का क्रेज गिरा है। आकाशी अतिशबाजी व रौशनी वाले पटाखे ही ज्यादा पंसद किये जा रहे है। बाबा फिरोज के स्टाल पर नवीनतम आतिशबाजी कीक तकनीकि लिए हैप्पीनेस कम्पनी में पेपर फुल कलर में स्टेण्डर्ड कं0 में म्युजिक अनार को शामिल किया है जिसकी रेंज 200 रू0 में 5 पीस के बाॅक्स में है। ब्रेडल कंपनी का स्काई पाइप जो 60 शाटस में 1500 रू0 में उपलब्ध है। यहां पटाखे खरीदने आये फैजाद व शिराज ने बताया कि गोल्डन आई, वेडवेल तथा बिगबाॅस नाम की आकाशी आतिशबाजियों और एक मीटर लम्बी फुलझडी उनको हमेशा पंसद आती है। दुकानदार बाबा फिरोज ने बताया कि इन पटाखों की कीमत 1500 से 5 हजार रू0 तक है जो ब्रांउेड होने के साथ सुरक्षित भी है। पाटाखा व्यापार मंडल अध्यक्ष राजू शम्सी की लक्की ऐजेंसी के नाम से स्टाल है जिसमें बडे और छोटे बच्चों की पंसद का खासा ध्यान रखते हुए ब्रेडाल और भारत कम्पनी की आकाशी आशिबाजी की नवीनतम रेंज में इस बार स्काई पाइप शाॅट्स में बडा कलेक्शन लाया गया है जिनमें 60 शाॅट्स ले लेकर 1000 शाॅटस तक 3500 से लेकर 7 हजार रू0 तक है। यदि आप बच्चों के लिए पटाखो की ारीदारी करने निकले है तो पटाखा बाजार में गेट में एंट्री से पहले स्टाल नं0 1 मुख्तार भाई के स्टाल पर आपको स्पेंसर रायफल, चिटपुटिया पिस्टल, शाम्भ रायफल, शत्रुघ्न सिन्हा की शाॅटगन, माउजर, छः फायरिया सुल्तान 8 राउंड तथा बडे बच्चो के लिए मशीन गन, लाग फ्लीड रायफल जिनकी कीमत 240 रू0 से लेकर 460 रू0 तक है मिल जायेगी जो आपकी जेब थोडी हल्की करने का इंतजार कर रही है।
सरकार के आदेशों का किया जायेगा सख्ती से पालन, राजू शम्सी
पटाखा व्यापार मण्डल के अध्यक्ष राजू शम्सी ने कहा कि सरकार के आदेशों का सख्ती से पालन किया जायेगा साथ ही प्रशासन के आदेश पर हम सभी पटाखा व्यापारी सभी दुकानदार और ग्राहकों ने भी इस बात का स्वागत किया है और चाइनीज पटाखों को अब कोइ्र भी नही लेना चाहता है। हमारे यहां सभी स्टालों पर इंकोफ्रंडली ब्रांडेड पटाखे ही बेंचे जा रहे है। चाइना के पटाखे रिक्ी थे जिनसे दुर्घटना होने का भय रहता था। फर्क बस इतना है कि इन्डियन ब्रांडेड पटाखों के लिए व्यक्ति को अपनी जेब थोडी ज्यादा ढीली करनी पडती है। मा0 सुप्रीम कोर्ट के आये आदेश से मद्रास, दिल्ली, एनसीआर में प्रतिबन्ध का असर यहां भी इस बार दिखा है। प्रशासन ने इस बार 15 दिन के स्थान पर महज 10 दिन की ही परमीशन दी है। यही कारण है कि इस बार लोगों का रूझान पटाखों की खरीद पर कम दिख रहा है। सबसे चैकाने वाली बात यह है कि कुछ पटाखा सप्लायर अनाधिकृत रूप से यह काम कर रहे है, दिवाली के बाद इस बात पर सभी पटाखा व्यापारी एक बैठक बुलाकर इस विषय पर चिन्तन करेंगे जिससे पुराने पटाखा व्यापारियों को केाई दिक्कत न हो सके।
सुरक्षा के मददेनजर क्या कहना है प्रशासन का
ऐडीएम सिटी धमेन्द्र सिंह
मद्रास उच्च न्यायालय तथा दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश के बाद पटाखों पर पूरी तरह पाबन्दी लगा दी गयी है और सोशल मीडिया के जरिये पूरे देश में चाइना आईटम के बहिष्कार की मुहिम के चलते कानपुर में भी चाइना के पटाखा पर पिछले वर्ष से ही प्रतिबंन्ध कर दिया गया है।

हम इसे नकार नही सकते कि चाइना के उत्पाद बिक्री के लिए भारत एक बडे बाजार के रूप में उभरा है। कानपुर प्रशासन ने दिवाली के मौके पर चायनीज पटाखों की बिक्री मण्डारण पर पूर्णता पाबन्दी लगायी है। प्रति वर्ष लगायी जाने वाली इन अस्थाई थोक पटााखो की दुकानों को दिए जाने वाले अस्थाई लाईसेन्स की 33 शर्तो में पहली शर्त यही है कि पटाखे सिर्फ भारतीय होने चाहिये।

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